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Tax Saving Scheme : इनकम टैक्स बचाने के ये है 6 बेस्ट उपाय, होगी लाखों की बचत

Tax Saving Tips :भारत के हर एक नागरिक को टैक्स भरना होता है। आपको अपनी इनकम के हर एक सोर्स के बारे में जानकारी देनी अवाश्यक है। आपकी आय के मुताबिक ही आपको टैक्स देना होता है। यदि आप भी एक टैक्स्पेयर है तो आज हम आपको उन तरीको के बारें में बताएंगे जिनसे कि आप अपने टेक्स में बचत कर सकते है। आइए जान लेते है कि कौन से है ये छह तरीके...

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Tax Saving Scheme : इनकम टैक्स बचाने के ये है 6 बेस्ट उपाय, होगी लाखों की बचत

NEWS HINDI TV, DELHI : हर टैक्सपेयर को हर साल अपने इनकम पर टैक्स भरना होता है. आपको सरकार को बताना होता है कि आपने साल में भर कमाई कहां-कहां से की है और आपको कितना टैक्स भरना होगा, अगर आप भी करना चाहते हैं टैक्स में बचत तो आज हम आपको बताने जा रहे हैं उन 6 तरीकों के बारे मे जिनके जरिए आप मोटा टैक्स बचा सकते है। टैक्सपेयर को हर साल अपने इनकम पर टैक्स भरना होता है। आपको अपनी आय के हिसाब से कर अदा करना होता है। नौकरीपेशा लोगों के लिए टैक्स बचाना एक बड़ी समस्या है, जिन भी लोगों की सैलरी 30 लाख या उससे ज्यादा है उनके लिए टैक्स बचाना एक बड़ी चुनौती है. सोच-समझ कर किया गया निवेश टैक्स बचाने में आपकी काफी मदद कर सकता है. 


सेक्शन 80सी और कई अन्य टैक्स अधिनियम के तहत आप टैक्स कटौती में बचत (savings in tax) कर सकते हैं. आइए आज हम आपको बताते हैं कि किन 6 तरीकों से आप अपना टैक्स बचा सकते हैं. 


-टैक्स सेविंग एफडी 


टैक्स सेविंग फिक्स्ड डिपॉजिट (Tax Saving Fixed Deposits) टैक्स बचाने का सबसे आसान तरीका है. आप बैंक एफडी करा के सेक्शन 80सी के तहत टैक्स में छूट का फायदा ले सकते हैं. फिलहाल एफडी पैसे निवेश करने का एक सेफ ऑप्शन है. 

-पब्लिक प्रोविडेंट फंड 


इसके अलावा आप पीपीएफ (Public Provident Fund) में भी निवेश कर सकते हैं. पब्लिक प्रोविडेंट फंड बचत का एक अच्छा तरीका है. इसमें पैसों की बचत के साथ ही टैक्स की भी सेविंग होती है. यह एक लॉन्ग टर्ग सेविंग और इंवेस्टमेंट तरीका है, जिसके जरिए आप टैक्स बचा सकते हैं. यह सरकारी स्कीम है तो इसको काफी सेफ माना जाता है. 


-नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट 

NSC (National Savings Certificate) के जरिए भी आप पैसा बचा सकते हैं. यह फिक्सड इनकम इंवेस्टमेंट ऑप्शन है. नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट में निवेश करके आप 1961 के इनकम टैक्स अधिनियम की धारा 80सी के तहत टैक्स में छूट का फायदा ले सकते हैं. इसमें 5 साल का लॉक इन पीरियड होता है. इसके अलावा गारंटीड रिटर्न मिलता है. 

 


-सीनियर सिटीजन सेविंग्स स्कीम 


सीनियर सिटीजन सेविंग्स स्कीम (SCSS) के जरिए भी आप टैक्स बचा सकते हैं. इसमें 60 साल और उससे ज्यादा आयु के वरिष्ठ नागरिकों के लिए यह स्कीम बनाई गई है. इसमें भी सेक्शन 80सी के तहत छूट का फायदा मिलता है. इस स्कीम का लॉक इन पीरियड 5 साल का है और आप उसको 3 साल के लिए और बढ़ा सकते हैं. इस स्कीम में 80सी के तहत 1.5 लाख तक की छूट का फायदा मिलता है. 


-सुकन्या समृद्धि योजना 


सुकन्या समृद्धि योजना (SSY) टैक्स सेविंग स्कीम है. यह स्कीम खास लड़कियों के लिए होती है. मोदी सरकार ने बेटियों को आगे बढ़ाने के लिए इस स्कीम की शुरुआत की थी. जब आपकी बेटी 21 साल की हो जाएगी तब आप इसका पैसा निकाल सकते हैं. इसमें 80सी के तहत टैक्स छूट का फायदा मिलता है. इस स्कीम के तहत मिलने वाला ब्याज भी टैक्स फ्री होता है. 


-लोन 


साथ ही आप लोन (Loan) लेकर भी अपना टैक्स बचा सकते हैं. आप होम लोन, एजुकेशन लोन के जरिए भी टैक्स बचा (Tax saving) सकते हैं. इनकम टैक्स एक्ट के 24(b) सेक्शन के तहत आप होम लोन में 2 लाख तक का टैक्स बचा सकते हैं. वहीं, एजुकेशन लोन की बात की जाए तो सेक्श 80E के तहत आप टैक्स छूट का फायदा ले सकते हैं. 

 


होम लोन पर टैक्स छूट का फायदा (Benefit of tax exemption on home loan)

यदि आपने होम लोन ले रखा है तो आप इसके मूलधन और इंटरेस्ट के अमाउंट पर टैक्स (Tax on principal and interest amount) बेनेफिट क्लेम कर सकते हैं. सेक्शन 24 के तहत आपको होम लोन इंटरेस्ट पर 2 लाख तक की छूट और होम लोन के प्रिंसिपल अमाउंट पर 1.5 लाख तक की छूट मिल जाएगी.

चुने सही टैक्स स्लैब


आपको दो टैक्स स्लैब (tax slab) के ऑप्शन मिलते हैं. आपको ये देखना चाहिए कि आपके लिए कौन-सा ज्यादा किफायती स्लैब है. जो नया टैक्स रिजीम है, उसमें टैक्स रेट कम हैं, लेकिन इसमें डिडक्शन का ऑप्शन नहीं मिलता है. इसलिए अगर आप सेक्शन 80C के तहत छूट चाहते हैं तो आपको पुरानी टैक्स स्लैब में आईटीआर भरना होगा.

टाइम पर कर दें आईटीआर फाइल 


आपका सही वक्त पर टैक्स भरना भी आपके लिए फायदेमंद साबित होता है. आपको कायदे से हर साल 31 जुलाई या जो भी आईटी डिपार्टमेंट (IT department) की ओर से डेडलाइन रखी गई है, उसके पहले अपना इनकम टैक्स रिटर्न फाइल कर लेना चाहिए. इसके बाद आईटीआर भरने पर आपको अच्छा खासा जुर्माना देना पड़ता है.