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Noida Airport पर 3900 मीटर लंबा रनवे हुआ तैयार, कब से उड़ी पहली फ्लाइट जानिए

Jewar International Airport : आपको बता दें कि हाल ही में एक रिपोर्ट मिली हैं जिसके अनुसार यह जानकारी मिली हैं कि नोएडा एयरपोर्ट (Noida Airport) पर 3900 मीटर लंबा रनवे तैयार हो गया हैं। और इसके साथ ही यह भी कहा जा रहा हैं कि जल्द ही विमानों को उतारने का ट्रायल शुरू हो सकता है। जो चलिए जानते हैं इससे जुड़ा पूरा अपडेट...
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Noida Airport पर 3900 मीटर लंबा रनवे हुआ तैयार, कब से उड़ी पहली फ्लाइट जानिए

NEWS HINDI TV, DELHI: नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट जेवर का 3900 मीटर लंबा रनवे बनकर तैयार हो गया। अब जल्द ही विमानों को उतारने का ट्रायल शुरू हो सकता है। अब एयरपोर्ट में रडार सिस्टम समेत अन्य तकनीकी उपकरण लगाए जा रहे हैं।

एयरपोर्ट का कार्य 80 प्रतिशत पूरा हो गया है। सीईओ डॉ. अरुणवीर सिंह ने बताया कि दो दिन पहले लखनऊ में नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट अथॉरिटी लिमिटेड (Noida International Airport Authority Limited) की बोर्ड बैठक हुई थी, जिसमें यमुना प्राधिकरण ने एयरपोर्ट की प्रगति रिपोर्ट को प्रस्तुत किया था। 

प्राधिकरण ने बताया कि उड़ानों से संबंधित उपकरण लगाने का काम शुरू कर दिया गया है। टर्मिनल बिल्डिंग का ढांचा बनकर तैयार है। एयर ट्रैफिक कंट्रोल (एटीसी) टावर का काम भी लगभग पूरा होने को है। बिल्डिंग में शीशे लगाने का काम चल रहा है। साथ ही, टावर के लिए जरूरी मशीन, तकनीक और उपकरणों की खरीद कर ली गई है।

एयरपोर्ट (airport) के प्रथम चरण को पूरा करने के लिए 10,056 करोड़ रुपये का बजट निर्धारित किया गया था, जिसमें से 7371 करोड़ रुपये अब तक खर्च किए जा चुके हैं। रडार का काम 30 अगस्त तक पूरा करने का लक्ष्य है।

सर्विलांस रडार का काम अक्तूबर तक होगा-

एयरपोर्ट (airport) से 29 सितंबर को उड़ान शुरू होना प्रस्तावित है। एयरपोर्ट सर्विलांस रडार का काम अक्टूबर 2024 तक पूरा होगा। अभी रडार सिस्टम स्थापित नहीं है। इसकी खरीद रूस से होनी है। डील पूरी हो चुकी है। बस रडार सिस्टम के भारत आने की देरी है। चुनाव को देखते हुए यह कार्य अक्टूबर तक पूरा होगा, लेकिन बिना रडार के भी 50-60 उड़ान शुरू की जा सकती हैं।

मौसम संबंधी जानकारी देने वाला उपकरण चालू-

एयरपोर्ट की साइट पर मौसम संबंधी जानकारी देने के लिए लगाया गया उपकरण चालू हो गया है। इसे भारत मौसम विज्ञान विभाग के सहयोग से लगाया गया है। उड़ानों का ट्रायल शुरू होने से पहले ही दृश्यता संबंधी आंकड़े मिलने शुरू हो गए हैं। इससे एयरपोर्ट पर उतरने और उड़ान भरने वाले विमान को दृश्यता की जानकारी दी जाएगी। रनवे पर विमाल की उड़ान और लैडिंग के वक्त पायलट की मदद के लिए रिफ्लेक्टर और साइनेज लगाए जा रहे हैं।